मुंबई,15 सितम्बर, (न्यूज़ हेल्पलाइन)। रूस-यूक्रेन जंग के बीच रूसी राष्ट्रपति व्लादिमिर पुतिन पर जानलेवा हमला हुआ है। हमले में पुतिन बाल-बाल बच गए। हालांकि, रूस ने इस बात की आधिकारिक रूप से पुष्टि नहीं की है। मीडिया रिपोर्ट में दावा किया गया कि पुतिन अपनी लिमोजिन कार से घर लौट रहे थे। तभी उन पर जानलेवा हमला हुआ। पुतिन की कार को 5 गाड़ियां एस्कॉर्ट कर रही थीं। पहली गाड़ी को एक एंबुलेंस ने रोक दिया। इसके बाद दूसरी गाड़ी को भी ब्लॉक कर दिया गया। पुतिन तीसरी गाड़ी में बैठे थे। उनकी गाड़ी के लेफ्ट टायर के पास तेज धमाका हुआ और धुआं उठने लगा। उनके सिक्योरिटी गार्ड्स तुरंत एक्शन में आए और पुतिन को सुरक्षित तरीके दूसरी जगह ले जाया गया। यूक्रेन के इंटेलिजेंस डायरेक्टोरेट के चीफ काइरिलो बुडानोव ने कहा था की पुतिन को जान से मारने की नाकाम कोशिश 2 महीने पहले की गई थी।
एक रूसी टेलीग्राम चैनल के मुताबिक, ये हमला आत्मघाती हो सकता है। क्योंकि जिस एंबुलेंस ने पुतिन के काफिले की पहली कार को रोका था उसका ड्राइवर मृत पाया गया। उसकी डेडबॉडी मिली। वहीं, पुतिन को एस्कॉर्ट कर रही इस पहली कार में मौजूद 3 लोग लापता हो गए। रूसी टेलीग्राम चैनल ने ये दावा किया कि पुतिन के हेड बॉडीगॉर्ड समेत कई गॉर्ड्स को सस्पेंड करके हिरासत में लिया गया है। पुतिन के मूवमेंट की जानकारी उनकी सिक्योरिटी सर्विसेस के अलावा किसी को नहीं थी। इसलिए गॉर्ड्स को सस्पेंड करने का फैसला लिया गया।
साथ ही यूक्रेन के राष्ट्रपति वोल्दोमिर जेलेंस्की कार एक्सीडेंट में घायल हो गए हैं। यूक्रेन के कीव इंडिपेंडेंट अखबार के मुताबिक, जेलेंस्की को मामूली चोट आई है। हालांकि, रिपोर्ट में यह नहीं बताया कि यह हादसा कब हुआ। जेलेंस्की के प्रवक्ता सेरही नकीफोरोव ने भी हादसे की पुष्टि की। उनके मुताबिक, जेलेंस्की के काफिले से कहीं जा रहे थे, तभी एक कार बेकाबू होकर काफिले की कुछ गाड़ियों से टकराई। जेलेंस्की और उनके ड्राइवर को हॉस्पिटल ले जाया गया। इलाज के बाद उन्हें डिस्चार्ज भी कर दिया गया। पुलिस इस घटना की जांच कर रही है।
तो वही जंग की शुरुआत से अब तक पुतिन के 7 करीबियों की मौत हो चुकी है। इनमें से ज्यादातर ने यूक्रेन पर हमले का विरोध किया था। यूक्रेन पर हमले के बाद से ही पुतिन रूसी अधिकारियों और लोगों की विरोध झेल रहे हैं। UN में रूस के डिप्लोमैट बोरिस वोन्देरेव ने सिक्योरिटी काउंसिल के पद से इस्तीफा दे दिया था। जंग की 28वें दिन पुतिन के सीनियर एडवाइजर एंतोली चुबाइस ने पद से इस्तीफा दे दिया था।