Turkey, 28 July, 2021
अगस्त 2019 में मोदी सरकार द्वारा अनुच्छेद 370 को निष्क्रिय करने के बाद भारत और तुर्की के बीच संबंध ख़राब होते चले गए थे। दोनों देशों की ओर से बहुत बयानबाजी हुई थी। अब इसे तुर्की द्वारा पुनर्विस्थापित करने की कवायद शुरू हो गई है।
भारत में तुर्की के नए राजदूत फ़िरात सुनेल ने इसकी पहल की है, उन्होंने ठंडे पड़े भारत और तुर्की संबंध को लेकर कहा है कि भारत और तुर्की को अपने संबंधों को फिर से स्थापित करने की ज़रूरत नहीं है। क्योंकि तुर्की, भारत को 'महत्वपूर्ण महत्व' का मित्र मानता है। फ़िरात ने यह बात 'दी प्रिंट' को दिए एक इंटरव्यू में कहा है। उन्होंने कहा है कि दोनों देशों को सहयोग को और मजबूत करना होगा।
बता दें कि तुर्की के राष्ट्रपति रेचेप तैय्यप एर्दोगन ने अनुच्छेद 370 को लेकर भारत की आलोचना की थी। फरवरी 2020 में पाकिस्तान में एर्दोगन ने कहा था कि तुर्की कश्मीर मुद्दे पर इस्लामाबाद का समर्थन करेगा। इन कमेंट्स को भारत ने आंतरिक मामलों में घोर हस्तक्षेप और पूरी तरह से अस्वीकार्य बताया था।