ताजा खबर
बुलेट ट्रेन: प्रोजेक्ट का पूरा होना इस प्रमुख कारक पर निर्भर करता है, आरटीआई से पता चला   ||    ICICI और Yes Bank के सर्विस चार्ज बदले, Axis ने भी किया बड़ा ऐलान   ||    मलेशियाई नौसेना के हेलीकॉप्टर हवा में टकराए, 10 की मौत   ||    मलेशियाई नौसेना के हेलीकॉप्टर हवा में टकराए, 10 की मौत   ||    लोकसभा चुनाव 2024: सबसे बड़ा लोकतंत्र मतदान क्यों नहीं कर रहा?   ||    Earth Day 2023: पृथ्वी दिवस कब और क्यों मनाया जाता है?   ||    फैक्ट चेक: उत्तराखंड में लोकसभा चुनाव के बीच CM धामी ने सरेआम बांटे पैसे? वायरल वीडियो दो साल पुराना...   ||    मिलिए ईशा अरोड़ा से: ऑनलाइन ध्यान खींचने वाली सहारनपुर की पोलिंग एजेंट   ||    आज का इतिहास: 16 अप्रैल को हुआ था चार्ली चैपलिन का जन्म, जानें अन्य बातें   ||    एक मंदिर जो दिन में दो बार हो जाता है गायब, मान्यता- दर्शन मात्र से मिलता मोक्ष   ||   

रात में काजीरंगा पार्क घूमने पर सद्गुरु पर शिकायत, जानिए क्या है पूरा मामला

Photo Source :

Posted On:Monday, September 26, 2022

मुंबई, 26 सितम्बर, (न्यूज़ हेल्पलाइन)। असम के CM हिमंत बिस्वा सरमा और सद्गुरु जग्गी वासुदेव पर रात में काजीरंगा नेशनल पार्क और टाइगर रिजर्व के अंदर सफारी करने का आरोप लगा है। एक्टिविस्ट सोनेश्वर नारा और प्रबीन पेगू ने वन्यजीव संरक्षण कानून तोड़ने को लेकर एक शिकायत की है। इसमें कहा गया है कि सरमा और वासुदेव ने सूर्यास्त के बाद जीप सफारी की, जो वन्यजीव संरक्षण कानून का उल्लंघन है। एक्टिविस्ट ने दावा किया है कि एक निर्धारित समय के बाद नेशनल पार्क के अंदर सफारी नहीं की जा सकती। इसके लिए उन्होंने वन्यजीव संरक्षण अधिनियम, 1972 का हवाला दिया है। यूनेस्को वर्ल्ड हेरिटेज साइट काजीरंगा नेशनल पार्क एक सींग वाले गैंडे का घर है। दरअसल गोलाघाट जिला पुलिस में शिकायत दर्ज कराने वाले एक्टिविस्ट सोनेश्वर नारा और प्रबीन पेगू ने कहा कि उनके खिलाफ वन्यजीव संरक्षण अधिनियम के तहत कार्रवाई की जानी चाहिए। एक्टिविस्ट के मुताबिक, शाम 4 बजे के बाद काजीरंगा नेशनल पार्क में सफारी की अनुमति नहीं है, लेकिन तीनों ने शाम 6 बजे के बाद भी सफारी का आनंद लिया। साथ ही एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि अभी कोई FIR दर्ज नहीं की गई है, लेकिन उन्होंने जांच शुरू कर दी है।

तो वहीं CM सरमा ने आरोपों को खारिज करते हुए बताया कि हमने किसी भी कानून का कोई उल्लंघन नहीं किया है। वन्यजीव कानून के मुताबिक, वार्डन रात में भी प्रोटेक्टेड एरिया में प्रवेश की अनुमति दे सकता है। कोई भी कानून लोगों को रात में प्रवेश करने से नहीं रोकता। इधर, सद्गुरु के ईशा फाउंडेशन ने एक बयान में कहा है कि उन्हें सरकार ने आमंत्रित किया था। हमारा मानना है कि इस विशेष मौके के लिए सरकार की ओर से सभी आवश्यक अनुमतियां ली गई थीं। असम के मुख्य वन संरक्षक एमके यादव ने कहा कि फॉरेस्ट डिपार्टमेंट ने सद्गुरु और मुख्यमंत्री को आमंत्रित किया है। इसलिए यह कहना गलत है कि सद्गुरु और CM ने देर रात पार्क में प्रवेश किया। इसके लिए जरूरी इंतजाम किए गए थे। हम उनके कार्यक्रम को सिर्फ अंधेरे की वजह से कैंसिल करना कोई वजह नहीं थी।


बनारस और देश, दुनियाँ की ताजा ख़बरे हमारे Facebook पर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें,
और Telegram चैनल पर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें



You may also like !

मेरा गाँव मेरा देश

अगर आप एक जागृत नागरिक है और अपने आसपास की घटनाओं या अपने क्षेत्र की समस्याओं को हमारे साथ साझा कर अपने गाँव, शहर और देश को और बेहतर बनाना चाहते हैं तो जुड़िए हमसे अपनी रिपोर्ट के जरिए. banarasvocalsteam@gmail.com

Follow us on

Copyright © 2021  |  All Rights Reserved.

Powered By Newsify Network Pvt. Ltd.