वाराणसी। पूर्व विधायक अजय राय के भाई अवधेश राय की लगभग 31 वर्ष पूर्व हुए चर्चित हत्याकांड में शनिवार को बाहुबली मुख्तार अंसारी की बांदा जेल से वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए विशेष न्यायाधीश सियाराम चौरसिया की अदालत में पेशी हुई। इस दौरान गवाही देने के लिए अजय राय कड़ी सुरक्षा में कोर्ट में पेश हुए। इस मामले की अगली सुनवाई 18 जनवरी को नियत की गई है।
क्या है पूरा मामला ?
तीन अगस्त 1991 को लहुराबीर क्षेत्र में स्थित आवास के गेट पर ही अवधेश राय के ऊपर ताबड़तोड़ फायरिंग कर उनकी हत्या कर दी गई थी। अजय राय ने मुख्तार अंसारी, पूर्व विधायक अब्दुल कलाम, भीम सिंह, कमलेश सिंह व राकेश न्यायिक समेत अन्य के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया था।
अधिवक्ता नियुक्त करने को मांगा समय बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी की हुई विडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पेशी के दौरान कहा कि हमें इलाहाबाद से बनारस की अदालत में मुकदमा के स्थानांतरित होने की जानकारी नहीं थी, इसलिए अधिवक्ता नियुक्त करने के लिए अदालत समय दे। कोर्ट ने मुख्तार अंसारी को पक्ष रखने के लिए 18 जनवरी की तिथि निर्धारित कर दी। अभियोजन पक्ष की ओर से एडीजीसी ज्योति शंकर उपाध्याय ने पक्ष रखा।
अदालत में बयान देने के लिए हाजिर हुए अजय राय ने अपने अधिवक्ता अनुज यादव व अधिवक्ता विकास सिंह के जरिये अदालत में दिए आवेदन में मुख्तार अंसारी से जान का खतरा होने की बात कहते हुए मुकदमे की सुनवाई पूरी होने तक पुलिस सुरक्षा मुहैया कराने की अपील की। हालांकि विशेष न्यायाधीश ने उनके हाजिर होने के दौरान सुरक्षा मुहैया कराने का पुलिस कमिश्नर को आदेश दे रखा है लेकिन मुकदमे के निस्तारण तक सुरक्षा प्रदान करने का अनुरोध किए जाने पर जिलाधिकारी को भी मुकदमे की तिथि पर अदालत में उपस्थित होने के लिए अजय राय को सुरक्षा व्यवस्था प्रदान कराये जाने का आदेश दिया।