ताजा खबर
ICICI और Yes Bank के सर्विस चार्ज बदले, Axis ने भी किया बड़ा ऐलान   ||    मलेशियाई नौसेना के हेलीकॉप्टर हवा में टकराए, 10 की मौत   ||    मलेशियाई नौसेना के हेलीकॉप्टर हवा में टकराए, 10 की मौत   ||    लोकसभा चुनाव 2024: सबसे बड़ा लोकतंत्र मतदान क्यों नहीं कर रहा?   ||    Earth Day 2023: पृथ्वी दिवस कब और क्यों मनाया जाता है?   ||    फैक्ट चेक: उत्तराखंड में लोकसभा चुनाव के बीच CM धामी ने सरेआम बांटे पैसे? वायरल वीडियो दो साल पुराना...   ||    मिलिए ईशा अरोड़ा से: ऑनलाइन ध्यान खींचने वाली सहारनपुर की पोलिंग एजेंट   ||    आज का इतिहास: 16 अप्रैल को हुआ था चार्ली चैपलिन का जन्म, जानें अन्य बातें   ||    एक मंदिर जो दिन में दो बार हो जाता है गायब, मान्यता- दर्शन मात्र से मिलता मोक्ष   ||    फैक्ट चेक: कानपुर में हुई युवक की पिटाई का वीडियो 'ब्राह्मण पर पुलिसिया अत्याचार' के गलत दावे के साथ...   ||   

इतिहास के पन्नों मेंः 14 मई

Photo Source :

Posted On:Thursday, May 13, 2021

जब इजराइल ने आजादी की घोषणा कीः फिलिस्तीन उस्मान साम्राज्य का अहम हिस्सा था। 1878 के उस्मान साम्राज्य में आबादी का गणित कुछ ऐसा था- 87 फीसदी मुस्लिम, 10 फीसदी ईसाई और तीन फीसदी यहूदी। लेकिन यहूदियों की यह आबादी 1938 में 30 प्रतिशत हो गयी। इसके महज दस साल के भीतर 1948 में दुनिया के नक्शे पर इजराइल के रूप में आजाद देश ने जन्म ले लिया। आखिरकार इस दौरान कौन-सी ऐसी परिस्थितियां बनीं? इन सवालों का जवाब इतिहास में है।
 
दरअसल, सीयनिज्म आंदोलन के नाम से 1900 में पहली बार इजराइल की स्थापना की मांग उठी। दूसरे विश्वयुद्ध के बाद उस्मान साम्राज्य के पतन के बाद ब्रिटेन फिलिस्तीन पर राज करने लगा। अंग्रेजों ने बेलफोर्स घोषणा के जरिये यहूदियों के अलग देश की मांग का समर्थन कर दिया और यहूदियों के अप्रवासन की सहमति दे दी। जिसके बाद भारी संख्या में यहूदी फिलिस्तीन पहुंचे। लेकिन यहूदियों की बढ़ती संख्या वहां पहले से रह रहे अरब लोगों की आंखों में खटकने लगी। हिंसा व टकराव शुरू हो गया। इस स्थिति को देखते हुए 1930 में अंग्रेजों ने अप्रवासन को सीमित कर दिया जिसके विरोध में यहूदी लड़ाकों के दल गठित होने लगे। वे अरब लोगों और ब्रिटिश राज के खात्मे की कोशिशों में जुट गए। इस दौरान यहूदियों के अप्रवासन का सिलसिला भी जारी रहा। लगातार बढ़ती हिंसा के बाद ब्रिटिश राज ने यूएन से इसका हल निकालने को कहा। जिसमें नवंबर 1947 में यूएन ने फिलिस्तीन को तीन हिस्सों में बांटने का फैसला लिया। जिसके बाद 14 मई 1948 को अंग्रेजी हुकूमत खत्म हो गया और इजराइल ने खुद को एक आजाद देश घोषित कर दिया।    
 
अन्य अहम घटनाएंः
 
1607ः उत्तरी ्अमेरिका में अंग्रेजों ने अपना पहला स्थायी अड्डा स्थापित किया जिसे जेम्स टाउन वर्जीनिया का नाम दिया गया।
 
1610ः फ्रांस में हेनरी चतुर्थ की हत्या और लुईस 13वें फ्रांस की गद्दी पर बैठे।
 
1811ः पराग्वे स्पेन से मुक्त हुआ।
 
1944ः ब्रिटिश सैनिकों ने कोहिमा पर कब्जा किया।
 
1955ः आर्थिक, सैनिक व सांस्कृतिक संबंधों के विकास पर सहमति के साथ सोवियत संघ और पूर्वी यूरोप के सहयोगी देशों ने पोलैंड की राजधानी वारसा में संधि पर हस्ताक्षर किये।
 
1963ः कुवैत संयुक्त राष्ट्र का 111वां सदस्य बना।
 
1973ः अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने सेना में महिलाओं के समान अधिकार को मंजूरी दी।
 
1984ः फेसबुक के संस्थापक मार्क जुकरबर्ग का जन्म।
 
1992ः भारत ने लिट्टे पर प्रतिबंध लगाया।
 
2012ः इजराइल की जेलों में बंद 1500 फिलिस्तीनी कैदी भूख हड़ताल खत्म करने पर सहमत हुए।


बनारस और देश, दुनियाँ की ताजा ख़बरे हमारे Facebook पर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें,
और Telegram चैनल पर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें



You may also like !

मेरा गाँव मेरा देश

अगर आप एक जागृत नागरिक है और अपने आसपास की घटनाओं या अपने क्षेत्र की समस्याओं को हमारे साथ साझा कर अपने गाँव, शहर और देश को और बेहतर बनाना चाहते हैं तो जुड़िए हमसे अपनी रिपोर्ट के जरिए. banarasvocalsteam@gmail.com

Follow us on

Copyright © 2021  |  All Rights Reserved.

Powered By Newsify Network Pvt. Ltd.